नई दिल्ली : अफगानिस्तान और तालिबान के बीच होने वाली शांति वार्ता को अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने रद्द कर दिया है। अमेरिका के कैंप डेविड में होने वाली शांति वार्ता को काबुल में हुए बम धमाकों के बाद रद्द कर दिया गया है। शांति वार्ता रद्द होना जहाँ भारत के लिए राहत भरी खबर है, वहीँ चीन और पाकिस्तान को इससे बड़ा झटका लगा है।
दरअसल शांति वार्ता के सफल होने की स्थिति में अमेरिका द्वारा अफगानिस्तान में तैनात अमेरिकी सैनिकों को हटाए जाने की प्रक्रिया शुरू होती। अगर अफगानिस्तान से अमेरिकी सैनिकों की वापसी होती, तो ऐसी स्थिति में वहां तालिबान की स्थिति मजबूत होती। चूँकि तालिबान को पाकिस्तान का समर्थक माना जाता है, ऐसी स्थिति में भारत की अफगानिस्तान में पकड़ कमजोर होती।
अमेरिकी सैनिकों की अफगानिस्तान से वापसी के बाद तालिबान और पाकिस्तान के द्वारा मिलकर भारत के खिलाफ साजिश रची जा सकती थी। यही कारण है कि भारत इस शांति वार्ता का पहले से ही विरोध करता रहा है। लेकिन अब खुद अमेरिका ने ही इस शांति वार्ता को रद्द कर दिया है, जिसके बाद भारत को इस मोर्चे पर बड़ी राहत मिली है, जबकि चीन और पाकिस्तान को एक बार फिर बड़ा झटका लगा है।