ग्रेटर नोएडा : दिल्ली से सटे जनपद गौतमबुद्ध नगर के ग्रेटर नोएडा के जेवर कोतवाली क्षेत्र में बीते दिनों एक युवक के साथ कुछ लोगों ने मारपीट की थी, जिसमें युवक गंभीर रूप से घायल हो गया था. घायल युवक को जेवर के ही एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया था, जहां उपचार के दौरान युवक की मौत हो गई. युवक की मौत से गुस्साए सैकड़ों ग्रामीणों ने शव को जेवर खुर्जा रोड पर रखकर जमकर हंगामा किया और तोड़फोड़ की.
सूचना मिलने पर मौके पर पहुंची पुलिस ने हंगामा कर रहे लोगों को समझाने की कोशिश की, लेकिन ग्रामीणों के गुस्से के आगे पुलिस बोनी साबित हो गई और ग्रामीणों ने पुलिस को दौड़ा-दौड़ा कर पीटा, जिसमें कई पुलिसकर्मी भी घायल हो गए. ग्रामीणों के हंगामे की सूचना मिलते ही पुलिस के आला अधिकारियों ने कई थानों की पुलिस को जेवर में तैनात करा दिया और हंगामा कर रहे ग्रामीणों को शांत कराया.
ग्रेटर नोएडा के जेवर कोतवाली क्षेत्र में हंगामा करने वाले ग्रामीणों का आरोप है कि बीते दिनों कुछ युवकों ने दीपक नाम के एक साथ मारपीट की थी, जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गया था. घायल दीपक को जेवर के ही एक निजी अस्पताल में उपचार के लिए भर्ती कराया गया था, जहां उपचार के दौरान आज दीपक की मौत हो गई. दीपक की मौत की सूचना मिलते ही सैकड़ों ग्रामीण इकट्ठा होकर जेवर पहुंच गए और शव को जेवर खुर्जा रोड पर रखकर जमकर हंगामा किया. हंगामा कर रहे लोगों का गुस्सा जब इतने से भी शांत नहीं हुआ तो लोगों ने जमकर तोड़फोड़ करते हुए पुलिस के खिलाफ जमकर नारेबाजी की.
सूचना मिलने पर मौके पर पहुंची पुलिस ने हंगामा कर रहे लोगों को समझाने की कोशिश की, मगर ग्रामीणों का गुस्सा शांत होने का नाम नहीं लिया और उन्होंने पुलिसकर्मियों पर ही धावा बोल दिया, जिसमें कई पुलिसकर्मी घायल हो गए. हंगामे की सूचना मिलते ही पुलिस के आला अधिकारी कई थानों की पुलिस बल के साथ मौके पर पहुंच गए और हंगामा कर रहे ग्रामीणों को किसी तरह शांत कराया.
हंगामा कर रहे लोगों का कहना है कि पुलिस के द्वारा आरोपियों के खिलाफ कोई कार्रवाई ना होने के चलते वह रोड जाम करने आए थे. मगर जिस तरीके से हंगामा कर रहे लोगों ने रोड जाम कर जमकर हंगामा करते हुए तोड़फोड़ की और पुलिस के साथ मारपीट की उसके बाद सवाल खड़ा होता है कि क्या हंगामा कर रहे लोगों को पुलिस का डर नहीं था ? या फिर पुलिस की कार्यशैली पर विश्वास नहीं था ?