जनतंत्र डेस्क, नई दिल्ली: तालिबान के कब्जे के बाद अफगानिस्तान के पास जहां भूखो मरने के अलावा कोई चारा नहीं बचा। तो दूसरी ओर तालिबान अपने तुगलकी फरमान से बाज नहीं आ रहा। अब अफगानिस्तान की दुकानों और मॉल्स में लगे पुतलों की गर्दन काटी जा रही है। ये पुतले महिलाओं के कपड़ों की प्रदर्शनी के लिए लगे होते हैं। तालिबान शासन ने आदेश दिया है कि इन पुतलों की गर्दन काटी जाए।
सोशल मीडिया पर पुतलों की गर्दन काटने का वीडियो वायरल हो रहा है। बताया जा रहा है अफगानिस्तान के हेरात प्रांत का ये मामला है। जहां कुछ दुकानदारों ने पुतलों को काले कपड़े से ढक दिया तो कुछ की गर्दन काटी जा रही है। तालिबान ने इन पुतलों को ‘अवैध’, ‘मूर्ति पूजा’ और ‘गैर इस्लामिक’ बताया है।
दोष और पुण्य विभाग ने बताया गैर इस्लामिक
अफ़ग़ानिस्तान के न्यूज नेटवर्क टोलो न्यूज ने हाल ही में खबर दिखाई थी कि, तालिबान ने हेरात के शॉपिंग मॉल्स में ‘पुतलों के सिर हटाने को Save Me From Arranged Marriage Billboard | Mohammad Malik Billboard | Mohammad Malik Advertisementहै।’ न्यूज नेटवर्क ने बताया था कि, हेरात के ‘दोष और पुण्य’ विभाग के प्रमुख का कहना है कि ‘ये पुतले हैं, जिनके बारे में किताबों में बताया गया है और इस्लाम में इन्हें नहीं होना चाहिए। इनकी पूजा की जाती थी। दुकानदारों को चेतावनी दी गई है अगर वो आदेश का उल्लंघन करते हैं तो उन्हें सजा दी जाएगी।’ उधर सोशल मीडिया पर लोग पुतलों की गर्दन काटने के वीडियो को देखकर रिएक्शन दे रहे हैं।
लोगों का कहना है कि, इन पुतलों को कपड़ों के डिस्प्ले के तौर पर ही देखा जाता है। दुकान में कोई पूजा करने नहीं जाता। अफगानिस्तान की प्राथमिकता मानवीय और खाद्य संकट से निपटना होनी चाहिए ना कि ऐसे फरमान सुनाना। इससे पहले काबुल के ऐसे वीडियो सामने आए थे जिसमें तालिबान महिलाओं के ऊपर नई पाबंदियां लगाने, संगीत सुनने पर रोक लगाने और दाढ़ी कटाने से जुड़े नए आदेश जारी कर रहे हैं।