Uttarakhand: मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मोहकमपुर में हंस फाउंडेशन डायलिसिस केंद्र का लोकार्पण किया।
जनतंत्र डेस्कः Uttarakhand: मुख्यमंत्री धामी ने हंस फाउंडेशन की संरक्षक माता श्री मंगला जी को जन्मदिन की शुभकामनाएँ देते हुए उनके स्वस्थ रहने और दीर्घायु की कामना की। उन्होंने कहा कि माता मंगला और भोले जी महाराज ने अपना पूरा जीवन परमार्थ के लिए लिए समर्पित किया है। हंस फाउंडेशन के माध्यम से शिक्षा, स्वास्थ्य और संस्कृति के क्षेत्र में उनका योगदान अनुकरणीय है। हंस महाराज की प्रेरणा से धर्मार्थ कार्यों को बढ़ावा देने के लिए माता मंगला जी और भोले महाराज ने वर्ष 2009 में हंस फाउंडेशन नाम से सार्वजनिक धर्मार्थ ट्रस्ट की स्थापना की। तब से लेकर वर्तमान तक पूरे भारत में कई संस्थाओं को प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से धनराशि दान कर वे कई निर्धन लोगों को लाभान्वित कर चुके हैं।
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Uttarakhand: हंस फाउंडेशन का उद्देश्य
हंस फाउंडेशन का उद्देश्य वंचित समुदायों के जीवन की गुणवत्ता में सुधार लाना और यह सुनिश्चित करना है कि दूरस्थ और अविकसित क्षेत्रों के बच्चों के लिए गुणवत्तापूर्ण शिक्षा सुलभ हो। स्वास्थ्य की सेवाओं मे सुधार के लिए हंस हॉस्पिटल की शृंखला पूरे भारत के विस्तृत की जा रही है। हॉस्पिटल के अलावा, हंस आई केयर भी खोला गया जहाँ सैकड़ों की संख्या में लोग अपना इलाज करवाने के लिए आते हैं । इसी प्रकार महिलाओं का विशेष ध्यान रखते हुए प्रत्येक जिले में वुमेंस स्पेशल ऐम्बुलेंस, बच्चों में हृदय रोग की समस्या को देखते हुए लिटिल हर्ट्स प्रोग्राम और नेत्र दान के लिए हंस आई बैंक जैसी सुविधाएँ भी हंस फांउडेशन ने उपलब्ध करवाई हैं।
Uttarakhand: उत्तराखंड को 14 डायलिसिस केंद्रों की सौगात
अपने जन्मदिन के शुभ अवसर पर माता मंगला जी ने उत्तराखंड को 14 डायलिसिस केंद्रों और 13 सचल चिकित्सालयों की सौगात दी है। गौरतलब है कि कोरोना महामारी से लड़ने में भी हंस फाउंडेशन फ्रंटलाइन वॉरियर्स की भूमिका अतुलनीय रही है। महामारी के दौरान फाउंडेशन ने राज्य सरकारों को जीवन रक्षक उपकरण जैसे ऑक्सीजन कंसंट्रेटर और ऑक्सीजन प्लान्ट मुहैया करवाए।