पटना : बिहार में होने वाले चुनाव (Bihar Election) के मद्देनज़र जहाँ सभी राजनीतिक पार्टियां चुनावी तैयारियों में जुटी है, वही बिहार की मुख्य विपक्षी पार्टी राजद (RJD) को चुनाव से पहले बड़ा झटका लगा है। पार्टी के वरिष्ठ और दिग्गज नेता रघुवंश प्रसाद ने पार्टी का साथ छोड़ दिया है। दिल्ली के एम्स में अपना इलाज़ करवा रहे रघुवंश प्रसाद (Raghuvansh Prasad Singh) ने अस्पताल से ही अपना इस्तीफ़ा पार्टी को भेज दिया है। रघुवंश प्रसाद जैसे कद्दावर नेता के पार्टी छोड़ने से राजद को निश्चित तौर पर बड़ा झटका लगा है।
Bihar Election से पहले रघुवंश प्रसाद ने छोड़ा RJD का साथ
रघुवंश प्रसाद ने पार्टी से इस्तीफ़ा देते हुए जो पत्र भेजा है, उसमें उन्होंने लिखा है कि जननायक कर्पूरी ठाकुर के बाद 32 वर्षो तक आपके पीछे खड़ा रहा लेकिन अब नहीं। पार्टी, नेता, कार्यकर्ता और आमजन ने बड़ा स्नेह दिया, लेकिन मुझे क्षमा करें। गौरतलब है कि रघुवंश प्रसाद सिंह, आरजेडी के उपाध्यक्ष पद से पहले ही इस्तीफा दे चुके थे और तभी से उनके पार्टी छोड़ने की अटकलें लगाई जा रही थी।
रामा सिंह की में RJD एंट्री से नाराज हैं रघुवंश प्रसाद !
दरअसल रघुवंश प्रसाद की पार्टी छोड़ने की वजह लोक जनशक्ति पार्टी (एलजेपी) के सांसद रहे रामा सिंह, जिनकी राजद में एंट्री से वो नाखुश हैं, जबकि तेजस्वी यादव रामा सिंह रामा सिंह को आरजेडी में शामिल कराने को लेकर उत्सुक हैं। राजनीतिक जानकारों की मानें तो पिछले चुनाव में तेजस्वी यादव ने वैशाली जिले के राघोपुर विधानसभा क्षेत्र से भले ही जीत दर्ज़ कर ली हो, लेकिन इस बार हालात लग हैं। पिछले चुनाव में जदयू ने राजद के साथ मिलकर चुनाव लड़ा था, लेकिन इस बार जदयू फिर से बीजेपी के साथ है। ऐसे में तेजस्वी यादव अपनी विधायकी बचाने के लिए हरसंभव प्रयास कर रहे हैं।
राजद में एंट्री से लालू यादव भी खुश नहीं !
बताया ये भी जा रहा है कि रामा सिंह की राजद में एंट्री से लालू यादव भी खुश नहीं है और इसीलिए अब तक उनकी पार्टी में एंट्री नहीं हो पाई है। बिहार की राजनीति को जो करीब से जानते हैं, वो इस बात से भलीभांति वाकिफ हैं, कि लालू यादव और रामा सिंह एक दूसरे के कट्टर प्रतिद्वंदी माने जाते हैं। ऐसे में लालू यादव अपनी राजनीतिक रसूख को दांव पर नहीं लगाना चाहते। हालाँकि अब उनकी राजनीतिक सक्रियता कम है और शायद यही कारण है कि रघुवंश प्रसाद को राजद का साथ छोड़ना पड़ा है।