Congress ने वरिष्ठ नेताओं को पार्टी से किया बाहर, सड़कों पर उतरे समर्थक
लखनऊ : अनुशासनहिनता का आरोप लगाते हुए कांग्रेस पार्टी (Congress) के दस वरिष्ठ नेताओं को पार्टी से निकाले जाने के विरोध में आज यहां पार्टी प्रदेश मुख्यालय (Lucknow Congress Office) के बाहर युवा कांग्रेस नेताओं ने निष्कासित नेताओं को वापस लिये जाने की मांग पर विरोध प्रदर्शन किया। वहीं प्रदर्शनकारियों ने पार्टी के नव निर्वाचित प्रदेश अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू (Ajay Kumar Lallu) के खिलाफ नारेबाजी करते हुए आरोप लगाया कि गलत तरीके से वरिष्ठ नेताओं को पार्टी से निकाला गया है।
Congress से निष्काषित नेता के बेटे ने क्या कहा ?
प्रदर्शन में शामिल निष्कासित पूर्व विधायक नेक चंद्र के बेटे शक्ति ने कहा कि जिन नेताओं को पार्टी से निकाला गया है। उनका पार्टी में अहम योगदान रहा है और पार्टी के विचारों को तेजी के साथ फैलाया है। वहीं कहा कि हम सभी यहां निष्कासित नेताओं को पार्टी में वापस लिये जाने की मांग पर पार्टी प्रभारी से मुलाकात की है और उन्होंने अश्वासन दिया है कि पार्टी के उच्च पदाधिकारियों के साथ बैठक कर चर्चा की जायेगी।
Congress ने पार्टी के 11 वरिष्ठ नेताओं को जारी किया था नोटिस
बता दें कि यूपी कांग्रेस ने राज्य के 11 सीनियर नेताओं को नोटिस जारी कर अनुशासनहीनता को लेकर जवाब मांगा था। कांग्रेस की अनुशासन समिति के सदस्य अजय राय की तरफ से जारी कारण बताओ नोटिस में अनुशासनहीनता के आरोपी सभी नेताओं से 24 घंटे के अंदर जवाब देने के लिए कहा गया था। बता दें कि पूर्व विधायक मोहम्मद हाफिज़ उमर ने ही नोटिस का जवाब दिया, बाकि किसी ने भी जबाब नही दिया। कुछ ने तो नोटिस का जवाब देने से ही इनकार कर दिया था।
नोटिस में कहा गया था कि ये 11 नेता कुछ समय से अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के निर्णयों पर लगातार सार्वजनिक बैठकें कर उनका विरोध कर रहे हैं। इन बैठकों और मीडिया में इनके बयानों से कांग्रेस पार्टी की छवि खराब हुई है। इन सीनियर नेताओं से ऐसी उम्मीद नहीं है। उनका ये कदम अनुशासनहीनता है।
Congress ने 11 वरिष्ठ नेताओं को जारी किया था नोटिस
- पूर्व सांसद संतोष सिंह
- पूर्व एमएलसी सिराज मेंहदी
- पूर्व गृहमंत्री रामकृष्ण द्विवेदी
- पूर्व मंत्री सत्यदेव त्रिपाठी
- राजेंद्र सिंह सोलंकी
- भूधर नारायण मिश्र
- हाफिज मोहम्मद
- विनोद चौधरी
- नेकचंद पांडेय
- स्वयं प्रकाश गोस्वामी
- संजीव सिंह
गौरतलब है कि यूपी कांग्रेस की प्रभारी प्रियंका गांधी ने अक्टूबर में प्रदेश कांग्रेस की जो नई कमेटी बनाई थी, उसमें सीनियर नेताओं की तुलना में युवा नेताओं को तरजीह दी गई थी, जिससे कई सीनियर नेता खफा चल रहे हैं। इन नेताओं ने सोनिया गांधी तक बात पहुंचाई थी। उसके बाद बैठकें कर सार्वजनिक रूप से अपना विरोध भी जाताया था।
बता दें कि यूपी की जनता का विश्वास जीतने के लिए कांग्रेस जहां अनेक कोशिशें कर रही है। वहीं कांग्रेस के कुछ नेता अपनी ही पार्टी की उम्मीदों पर पानी फेरते नज़र आ रहे हैं। बता दें कि अपनी पार्टी को मज़बूत करने के लिए प्रियंका गांधी ने बीते दिनों एक टीम बनाई, जिसमें युवा संघर्षशील नेताओं को शामिल किया। इसके साथ ही योगी सरकार के खिलाफ सड़क से सदन तक संघर्ष भी किया।