नई दिल्ली: लोकसभा चुनाव 2019 में मिली करारी हार के बाद अब राहुल गांधी कांग्रेस के अध्यक्ष पद पर नहीं रहना चाहते। इसलिए वह पार्टी के अध्यक्ष पद को छोड़ने पर अड़े हुए हैं। हालांकि, पार्टी के कार्यकर्ता और सभी 51 लोकसभा सांसद उन्हें मनाने में जुटे हुए हैं, लेकिन राहुल किसी की बात मानने को तैयार नहीं हैं।
बुधवार को संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (यूपीए) की अध्यक्ष सोनिया गांधी की अध्यक्षता में 51 लोकसभा सांसदों की बैठक हुई। इस बैठक में भी राहुल गांधी अध्यक्ष पद को छोड़ने की जिद पर अड़े रहे। उन्होंने लोकसभा में मिली हार की जिम्मेदारी खुद के कंधों पर ली और नया अध्यक्ष चुनने की बात कही।
Delhi: Members of Youth Congress and workers of the party demonstrate outside the residence of Congress President Rahul Gandhi urging him to take back his resignation and continue as the party President. pic.twitter.com/KIMvCKuS11
— ANI (@ANI) June 26, 2019
उन्हें कांग्रेस सांसद शशि थरूर और मनीष तिवारी ने बहुत मनाने की कोशिश की। उन्होंने कहा कि आम चुनाव में मिली हार की जिम्मेदीर सिर्फ आपकी ही नहीं है, बलेकि ये सामूहिक है। लेकिन राहुल गांधी मानने के लिए तैयार नहीं हुए।
राहुल गांधी हार के बाद से कहते आए हैं कि अब वह अध्यक्ष पद पर नहीं रहेंगे। वह इस पद के लिए प्रियंका गांधी के नाम पर भी नाखुश दिखे। उन्होंने कहा कि इस पद की जिम्मेदारी गैर गांधी परिवार के किसी शख्स को ही मिले।