नई दिल्लीः यूपी पंचायत चुनाव: उत्तर प्रदेश में इस बार चार चरणों में पंचायत चुनाव करवाए जाएंगे। हर चरण में 18 या 19 जिलों में एक साथ मतदान सम्पन्न होगा। प्रत्येक जिले में ग्राम प्रधान, ग्राम पंचायत सदस्य और क्षेत्र व जिला पंचायत सदस्य के चारों पदों के लिए एक ही बार में वोट डाले जाएंगे।
यूपी पंचायत चुनाव
इन बिन्दुओं के साथ ही चुनाव की तैयारियों को लेकर बुधवार को राज्य निर्वाचन आयोग ने 35 जिलों के जिलाधिकारियों व अन्य संबंधित अफसरों के साथ समीक्षा की। राज्य निर्वाचन आयुक्त मनोज कुमार के साथ अपर निर्वाचन आयुक्त वेद प्रकाश वर्मा और जे.पी.सिंह ने लखनऊ में एनआईसी सेंटर से वीडियो कान्फ्रेंसिंग के जरिये चुनाव तैयारियों का जायजा लिया।
कुल 35 जिलों में पंचायत चुनाव
बुधवार को लखनऊ, अयोध्या, बस्ती, झांसी, आजमगढ़, विंध्यांचल, गोरखपुर, वाराणसी और देवीपाटन मण्डलों के कुल 35 जिलों में पंचायत चुनाव की तैयारियों की समीक्षा की गई। समीक्षा में इन जिलों में चुनाव में इस्तेमाल की जाने वाली सामग्री, प्रपत्र आदि की उपलब्धता और उनकी खरीद के बारे में जिलाधिकारियों को जरूरी निर्देश दिये गये। मतदान के बाद जहां मतपेटियां रखी जाएंगी उन स्थानों पर बनने वाले स्ट्रांगरूम और मतगणना स्थलों की समीक्षा करते हुए निर्देश दिए गए।
साथ ही मतदान केंद्रों-स्थलों की संवेदनशीलता को जिला स्तर पर समिति गठित कर समीक्षा करने और इस बारे में राज्य निर्वाचन आयोग को अवगत करवाने के लिए भी कहा गया। चर्चा के दौरान यह पाया गया कि कुछ जिलों को छोड़ कर चुनाव से संबंधित सभी संसाधन और कार्मिक जिले में उपलब्ध हैं। कमी की सूरत में उन्हीं मण्डलों के पूल से उसे पूरा किया जाएगा।
2500 शिकायतों का निस्तारण
समीक्षा के दौरान चार जिलों की वोटर लिस्ट के पुनरीक्षण के बारे में भी पूछताछ की गई। इसके अलावा सभी जिलों में पूरक वोटर लिस्ट की अब तक की प्रगति का भी आंकलन हुआ। बैठक में निर्देश दिये गये कि आयोग द्वारा जिलों को भेजी गयी 2500 शिकायतों का निस्तारण करते हुए उसकी रिपोर्ट आयोग को भेजी जाए।
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