जनतंत्र डेस्क, नई दिल्ली: उत्तर प्रदेश में अवारा जानवर एक बहुत गंभीर समस्या हैं, खासकर बुंदेलखंड बेल्ट में। खुले में घूम रहे पशु खेतों में जाकर फसल बर्बाद करते हैं और लोगों पर हमले भी कर देते हैं। फसलों को खाने से ज्यादा ये उसे रौंद देते हैं। अब पीएम मोदी ने चुनावी सभा को संबोधित करते हुए यूपी के लोगों को इस समस्या से निजात दिलाने का वादा किया है।
सपा के चुनाव चिन्ह को पीएम मोदी ने आंतकवाद से जोड़ा, अब विपक्ष के निशाने पर आए
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उन्नाव में एक चुनावी रैली को संबोधित करते हुए कहा कि खुले में घूम रहे पशुओं से जो परेशानी होती उसे दूर करने के लिए 10 मार्च के बाद नई व्यवस्था बनाई जाएगी। आपको बता दें कि 10 मार्च को वोटों की गिनती होनी है।
पीएम मोदी ने कहा, ”आपलोग को छुट्टा जानवरों से जो परेशानी होती है, उसे दूर करने के लिए 10 मार्च के बाद नई व्यवस्थाएं बनेंगी। उन्नाव के भाइयों और बहनों, मेरे ये शब्द लिखकर रखिए, ये मोदी बोल रहा है और आपके आशीर्वाद के साथ बोल रहा है।”
पीएम मोदी ने कहा, ”जो पशु दूध नहीं देता है, उसके गोबर से भी आय हो, ऐसी व्यवस्था मैं आपके सामने खड़ी कर दूंगा. और एक दिन ऐसा आएगा कि छुट्टा पशु जो हैं न, लोगों को लगेगा कि यार इसे भी बांध लो, इससे भी कमाई होने वाली है.”
2017 के बाद बढ़ी समस्या
किसानों का कहना है कि 2017 में बीजेपी के आने के बाद से यह समस्या और बढ़ी है क्योंकि स्थानीय पशु बाजार ध्वस्त हो गए हैं, जानवरों की ढुलाई बंद है, अवैध बूचड़खाने बंद हैं और गाय संरक्षण नीति भी लागू है।
आर्थिक नुकसान, फसलें चौपट
छुट्टा जानवरों के कारण फसलें तो बर्बाद हो ही रही हैं साथ ही लोगों पर हमले भी बढ़ गए हैं। किसानों को इससे बड़ा आर्थिक नुक़सान हो रहा है। फसल की रखवाली के लिए किसान रातभर खेतों में जागकर बितातें हैं। जानवरों से फसलों को बचाने के लिए किसान तार भी लगा रहे हैं और इससे उनका खर्चा बढ़ रहा है।
समाजवादी पार्टी ने भी किया वादा
पीएम मोदी से पहले समाजवादी पार्टी ने भी वादा किया है कि सत्ता में आने के बाद सांडों के हमले में मृत परिजनों को पांच-पांच लाख रुपए का मुआवजा मिलेगा। चुनावी अभियान में सपा ने छुट्टा जानवरों के मुद्दे को खूब भुनाया है। अखिलेश यादव ने अपने भाषणों में कहा है कि उनकी पार्टी सत्ता में आई तो बाबा, बुल और बुल्डोजर से मुक्ति मिलेगी।