तमिलनाडु की राजनीति में तहलका मचाने वाली विजय की पार्टी TVK की पहली बड़ी रैली अचानक भयावह हादसे में बदल गई। रैली खत्म होने के बाद भीड़ में भगदड़ मच गई और अफरा-तफरी में 39 लोगों की जान चली गई। मौके पर चीख-पुकार मच गई, लोग एक-दूसरे के ऊपर गिर पड़े और हालात को काबू करने में पुलिस को काफी मशक्कत करनी पड़ी।
इस हादसे की खबर सामने आते ही पूरे राज्य में शोक की लहर दौड़ गई। मुख्यमंत्री एम.के. स्टालिन खुद स्थिति का जायज़ा लेने पहुंचे और पीड़ित परिवारों से मिलकर संवेदनाएं व्यक्त कीं। उन्होंने कहा कि यह घटना बेहद दर्दनाक है और सरकार हर प्रभावित परिवार की मदद करेगी। स्टालिन की आंखों में आंसू और चेहरा गंभीर था, जिससे इस त्रासदी की भयावहता का अंदाज़ा लगाया जा सकता है।
हादसे के तुरंत बाद प्रशासन ने राहत और बचाव कार्य शुरू किया। घायलों को नज़दीकी अस्पतालों में भर्ती कराया गया जहां कई की हालत नाज़ुक बनी हुई है। मेडिकल टीमों को अलर्ट पर रखा गया है और एंबुलेंसों की तैनाती बढ़ाई गई है। सरकार ने मृतकों के परिजनों को मुआवज़े का ऐलान भी किया है ताकि उन्हें कुछ आर्थिक सहारा मिल सके।
इसी बीच एक्टर से नेता बने विजय के घर की सुरक्षा बढ़ा दी गई है। घटना के बाद विजय समर्थकों की भीड़ उनके निवास स्थान पर जमा होने लगी थी। किसी भी अप्रिय घटना या गुस्से के माहौल को देखते हुए पुलिस ने अतिरिक्त जवान तैनात कर दिए। सुरक्षा एजेंसियां हालात पर कड़ी नज़र बनाए हुए हैं।
यह हादसा राजनीति और फिल्म जगत दोनों के लिए गहरा झटका है। विजय की रैली से जुड़ी उम्मीदें एक त्रासदी में बदल गईं। अब सवाल उठ रहे हैं कि आखिर भीड़ प्रबंधन में ऐसी चूक कैसे हुई। फिलहाल, पूरे तमिलनाडु में शोक और गुस्से का माहौल है और लोग न्याय व ठोस कदम की मांग कर रहे हैं।