नई दिल्ली: Food Habits: हम दिनभर में जो भी खाते-पीते हैं, जरूरी नहीं कि वह शरीर के लिए फायदेमंद ही हो। आयुर्वेद में हर चीज के खाने-पीने का समय मौसम और लोगों की शारीरिक बनावट के अनुसार तय किया गया है। कई बार खान-पान से जुड़ी छोटी-छोटी गलतियां आपको नुकसान पहुंचा सकती हैं। इसलिए आयुर्वेद में खान-पान से जुड़े ऐसे कई नियम बताए गए हैं, जिन्हें अपनाकर आप स्वस्थ रह सकते हैं।
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Food Habits: सब्जियों को करें स्टीम या हाफ बॉयल
सब्जियों को बहुत देर तक पकाकर न खाएं और ज्यादा देर तक पकाने से सब्जियों के पोषक तत्व कम होते हैं हालांकि ये भी ध्यान रखें कि सब्जियां कच्ची न रह जाएं कच्ची सब्जियां भी आपकी सेहत को नुकसान पहुंचाती हैं। सब्जियों को इस तरह बनाएं कि उनमें कच्चापन भी न रहे और वो ज्यादा गलें भी नहीं। स्टीम या हाफ बॉयल सब्जियां भी फायदेमंद होती हैं।
(Food Habits) रात में ज्यादा भोजन न करें
रात में ज्यादा भोजन करने से पेट भारी होता है जिससे ऐसिडिटी और नींद न आने की समस्या हो जाती है। इसकी वजह से पाचन तंत्र के गड़बड़ होने की भी शिकायत सामने आती है। आयुर्वेद के अनुसार रात में हमें सिर्फ लो कार्बोहाईड्रेट वाला खाना ही खाना चाहिए, क्योंकि यह आसानी से पच जाता है। रात में भारी भोजन करने से बेचैनी और नींद न आने की आशंका बढ़ जाती है।
(Food Habits) कभी न खाएं ठंडा खाना
ठंडा खाना खाने से पाचन क्रिया कमजोर होती है। इस बात का ध्यान भी रखें कि पूरा पेट भर कर कभी न खाएं। आयुर्वेद के अनुसार भरपेट न खाने से भोजन आसानी से पचता है।
अमृत के समान है घूंट-घूंट पानी पीना
आयुर्वेद में घूंट-घूंट पानी पीना अमृत के समान बताया गया है। खाना खाने से आधा घंटा पहले और खाना खाने के आधा घंटे बाद पानी पी सकते हैं। खाने के दौरान जरूरत होने पर एक-दो घूंट पानी पी सकते हैं। खाना खाने के तुरंत पहले पानी पीने से पाचन क्रिया कमजोर हो जाती है। वहीं, खाना खाने के तुरंत बाद पानी पीने से मोटापा बढ़ता है। पूरे दिन में सादा या गुनगुना पानी पीना सेहतमंद माना गया है।
मीठी चीजें कम खाएं
मीठी चीजें कम ही खाने की कोशिश करें। मीठे के विकल्प के तौर पर शहद या गुड़ का इस्तेमाल कर सकते हैं। यह आपको डायबिटीज जैसे रोगों से बचाता है।
इन चीजों को कभी-कभी खाएं
पनीर हफ्ते में दो बार खाएं। स्प्राउट हफ्ते में दो बार। स्प्राउट को भाप में उबालें और उसमें नमक और नींबू मिलाकर खा सकते हैं। दही हफ्ते में दो या तीन बार ही इस्तेमाल करें। दरअसल, रोजाना दही खाने से मोटापा, जोड़ों का दर्द, डायबीटीज आदि बीमारियां हो सकती हैं। बेहतर होगा कि दही में शहद या मिश्री मिलाकर खाएं।
भूनकर पीस लें कच्चे मसाले
खड़े मसालों को भूनकर और पीसकर इनका इस्तेमाल करें. इससे रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है. बरसात के मौसम में अदरक को तवे पर भूनकर खाने से भी आपको फायदा मिलेगा।
आटे को छानकर कभी यूज न करें
गेहूं के ब्राउन वाले भाग में सबसे ज्यादा फाइबर होता है। जब भी आप आटे का इस्तेमाल करें, इसे बिना छाने इस्तेमाल करें. चोकर वाला आटा सेहत के लिए अच्छा माना जाता है।
खाने की इन चीजों को आपस में न मिलाएं
आयुर्वेद में खाने-पीने की कुछ चीजों का कॉम्बिनेशन सही नहीं माना गया है। जैसे किसी भी फल के साथ दूध का सेवन न करें। जिसे हम शेक समझकर पीते हैं, आयुर्वेद में उसे सेहत के लिए ठीक नहीं बताया गया है।