Sambhal Masjid Jama Masjid : उत्तर-प्रदेश के संभल की शाही जमा मस्जिद मामले में आज कोर्ट में सुनवाई होनी है। यह मामला शाही जामा मस्जिद में सफाई, रंगाई-पुताई का है। अब इस मामले में अगली सुनवाई 12 मार्च को होनी है। इस मामले में 28 फरवरी को भारतीय पुरातत्त्व सर्वेक्षण (एएसआई) ने एक रिपोर्ट पेश की गई थी ,जिसमें कहा गया था कि “मस्जिद में फिलहाल रंगाई-पुताई की कोई जरुरत नहीं है।”
12 मार्च को होगी अलगी सुनवाई
आज कोर्ट में मस्जिद में सफाई, रंगाई-पुताई के मामले में सुनवाई हुई। मस्जिद की सफेदी से जुड़े मामले सुनवाई के दौरान इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने एएसआई के वकील को निर्देश दिया कि “वह मस्जिद की बाहरी दीवारों की सफेदी से किस तरह का पूर्वाग्रह पैदा हो जाएगा।”
मस्जिद समिति ने रंगाई-पुताई की इजाजत मांगी
इस मामले पर सुनवाई करते हुए जस्टिस रोहित रंजन अग्रवाल ने मस्जिद समिति की तरफ से यह निर्देश पारित किया। मस्जिद समिति ने मामले पर कहा “हमने केवल मस्जिद के बाहरी हिस्से पर सफेदी और लाइटिंग की इजाजत मांगी थी। लेकिन इस मामले पर एएसआई की तरफ से हमें कोई ख़ास जवाब नहीं मिला।” समिति के वकील एस. एफ. ए. नकवी ने कोर्ट में दलील दी की “एएसआई केवल मस्जिद के आंतरिक हिस्से के बारे में बात कर रहा है। ”
एएसआई ने कोर्ट से मांगी इजाजत
दरअसल इस मामले में एएसआई ने 28 फरवरी को एक रिपोर्ट जारी की थी। जिसमें मस्जिद के अंदरूनी हिस्से को सिरेमिक रंग से रंगा हुआ है। फिलहाल मस्जिद में किसी तरह की रंगाई-पुताई की जरुरत नहीं है। लेकिन मुस्लिम पक्ष के वकील ने कहा कि “एएसआई से मस्जिद परिसर में जमी धूल और गंदगी की सफाई के लिए इजाजत मांगी गई थी।”
इस पर भारतीय पुरातत्त्व ने इलाहबाद हाई कोर्ट से अपील की कि “वह एएसआई के दो लोगों को मस्जिद की जांच करने की इजाजत दें।” उनकी इस मांग पर कोर्ट ने कहा कि “अगर जरुरत पड़ी तो हम इसकी इजाजत जरूर देंगे।” इस मामले की अगली सुनवाई 12 मार्च को होगी।