jagannath rath yatra: प्रसिद्ध भगवान जगन्नाथ की रथयात्रा आज से शुरू होने जा रही है. भगवान जगन्नाथ की यात्रा गुजरात के अहमदाबाद से शुरू होगी. जगन्नाथ यात्रा शुरू करने के लिए रथ पर भगवान जगन्नाथ, बलभद्र और सुभद्रा की मूर्तियों को स्थापित किया गया हैं. रथयात्रा से पहले मंदिर परिसर में श्रद्धालुओं का तांता लगा रहा. जगन्नाथ यात्रा के लिए कड़ी सुरक्षा का इंतजाम भी किया गया हैं. यात्रा शुरू होने से पहले आज एक दिवसीय दौरे पर गुजरात आए केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने जमालपुर क्षेत्र के जगन्नाथ मंदिर में ‘मंगला आरती’ में भाग लिया.
ओडिशा के पुरी की ‘रथ यात्रा’ भी है प्रसिद्ध
गुजरात के अहमदाबाद में मनाए जाने वाले ‘रथ यात्रा’ महोत्सव को पुरी जगन्नाथ रथ यात्रा के बाद देश की दूसरी सबसे बड़ी रथ यात्रा माना जाता है. रथ यात्रा हिंदू कैलेंडर के दो सप्ताह लंबे आषाढ़ महीने के दूसरे दिन मनाई जाती है.रथ यात्रा दुनिया भर में मनाए जाने वाले प्रसिद्ध हिंदू त्योहारों में से एक है. यात्रा भारत के ओडिशा राज्य में श्री क्षेत्र पुरी धाम में भगवान जगन्नाथ से जुड़ी है. इसका इतिहास ब्रह्म पुराण, पद्म पुराण, स्कंद पुराण और कपिला संहिता जैसे हिंदू ग्रंथों में भी दर्शाया गया है.
यात्रा के लिए कड़ी सुरक्षा का इंतजाम
एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने रविवार को कहा, 20 जून को गुजरात के अहमदाबाद में प्रसिद्ध भगवान जगन्नाथ रथ यात्रा के 146वें संस्करण में सुरक्षा व्यवस्था के एक हिस्से के रूप में पहली बार 3डी मैपिंग तकनीक का उपयोग होग. गृह राज्य मंत्री हर्ष सांघवी ने कहा कि रथ यात्रा के दौरान अनधिकृत ड्रोन का इस्तेमाल नहीं हो, यह सुनिश्चित करने के लिए पहली बार एंटी-ड्रोन तकनीक का इस्तेमाल किया जाएगा.
जगन्नाथ रथ यात्रा का इतिहास
पौराणिक मान्यता अनुसार एकबार द्वापर युग में भगवान श्रीकृष्ण की बहन सुभद्रा ने द्वारका देखने की इच्छा जताई. तब श्रीकृष्ण यानी जगन्नाथ भगवान ने और बलभ्रद जी ने अपनी बहन को रथ पर बैठाकर द्वारका की यात्रा करवाई थी. कहते हैं इसी उद्देश्य से हर साल जगन्नाथ रथ यात्रा निकाली जाती है.