बरेली: उत्तर प्रदेश के बरेली में सरकारी अस्पताल में मात्र चार दिन की बच्ची ने इसलिए दम तोड़ दिया, क्योंकि उसके परिजन अस्पताल के दो विंगों पर तीन घंटे तक उलझे रहे। इस मामले के सामने आने के बाद विंग के डॉक्टर को बर्खास्त कर दिया गया है। वहीं, इस मामले को लेकर दूसरे विंग पर कार्रवाई जारी है।
बताया जा रहा है कि मृतक बच्ची को जन्म के चार दिन बाद ही सांस लेने में दिक्कत आ रही थी। इसके बाद उसके परिजन उसे सरकारी अस्पताल लेकर गए। यहां के पुरुष विंग में तैनात डॉक्टर्स ने कहा कि इसे महिला विंग में लेकर जाइए। वहीं जब परिजन महिला विंग में लेकर गए तो वहां बैड की कमी के कारण उसको पुरुष विंग में ले जाने को कहा गया।
दोनों विंग के डॉक्टर्स का एक-दूसरे पर आरोप
बता दें कि एक विंग से दूसरे विंग लेकर जाने के निर्देश मेडिकल स्लिप में दर्ज है। जब बच्ची की मौत हो गई तो दोनों विंगों के डॉक्टर्स एक-दूसरे पर आरोप मढ़ने लगे। दोंनों विंगों के बीच बहस भी देखने को मिली।
मृतक बच्ची की दादी का आरोप
मृतक बच्ची की दादी कुसमा देवी ने कहा, तीन घंटे से बच्ची को लेकर यहां से वहां घूमते रहे, लेकिन किसी विंग में बच्ची को एडमिट नहीं किया गया। इसके बाद हमने बच्ची को घर लाने का फैसला लिया, लेकिन अस्पताल की सीढ़ियों पर उसने दम तोड़ दिया।
I have ordered suspension of CMS of Male Hospital Bareilly on the negligence of duty and have ordered for departmental proceedings against CMS of Women Hospital.
Any insensitivity by Govt. officials will not be tolerated in #NewUP— Yogi Adityanath (मोदी का परिवार) (@myogiadityanath) June 19, 2019
इस मामले में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी संज्ञान लिया है। उन्होंने ट्वीट के जरिए लिखा ड्यूटी पर लापरवाही बरतने पर बरेली अस्पताल के पुरुष विंग के चीफ मेडिकल सुपरिटेंडेंट को निलंबित करने का आदेश दिया है और महिला विंग की सुपरिटेंडेंट के खिलाफ विभागीय कार्यवाही के आदेश दिए गए हैं। नए उत्तर प्रदेश में अधिकारियों की कोई असंवेदनशीलता सरकार बर्दाश्त नहीं करेगी।
The action was taken after a critically sick child was brought to Male Hospital, where sufficient paediatricians were available, but instead of stabilising the child and giving due treatment, he turned family away to Women Hospital. CMS of Women Hospital referred child back.
— Yogi Adityanath (मोदी का परिवार) (@myogiadityanath) June 19, 2019
उन्होंने इस मामले में एक अन्य ट्वीट भी किया। सीएम योगी ने लिखा कि गंभीर रूप से बीमार बच्चे को पुरुष विंग लाने के बाद कार्रवाई की गई, जहां पर्याप्त संख्या में बाल रोग विशेषज्ञ उपलब्ध थे। लेकिन बच्चे का इलाज करने की बजाय उसे महिला विंग भेज दिया गया। अस्पताल के महिला विंग की सुपरिटेंडेंट ने बच्चे को पास पुरुष विंग भेज दिया।